Page 10 - Vishwa January 2022
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वपातपायन : हंगेररयन कहपानी
  (29 ि्चरा 1885 – 3 निम्बर 1936) (प्ेिचनद के सिक्लरीन प्हसद िंगेररयन कि्नरीक्र)
स्पान
कहानीकार : कोसतोलानयी दैिो अनरुवादक : इनदरुकांत आंवगरस
सरूजचमकरहाथिा।
बला्ोनझीलमेंनहानेकावहधकनारासरूजकीरौशनीमेंऐसेचमकरहाथिाजैसे धकरा्कैमरेकीफ़लैशसेजगमगाउठ्ीह।ै झोपधड़योंकीस़िेदी,मकईकी़िसलऔर रे्के टीलेसबकतुछस़िेददीख्ेथिे।आकाशभीस़िेदथिा।कीकरके पेड़कीभतुरभरतुी पधत्याँ स़िे द कोरे काग़ज़ की ्रह धदख्ी थिी।
दोपहर के लगभग ढाई बजे थिे।
शहतुयदानेआजदोपहरकाभोजनकतुछजरदीकरधलयाथिा।वहआगँनकोसीधियों से उ्र्े हुए घर के धपछवाड़े में धसथि् सधबज़यों के बग़ीचे की ्ऱि जा रहा थिा।
“कहाँ?”श्ीम्ीशहतुयदानेगलतुाबीरंगका्कतुषीक्ोधशयाबनतु्े-बनतु्ेपछूा।
“नहानेजारहाहू,ँ”शहतुयदानेअलसा्ेहुएजवाबधदया।उसकेएकहाथिमेंलाल रंग की नहाने की पोशाक थिी।
“अचछा्ोउसेभीअपनेसाथिलेजाओ,”श्ीम्ीजीनेअनरतुोिधकया।
“नहीं।”
“कयों?” “कयोंधकवहबदमाशह,ैधनकममाह,ै”शहतुयदानेटका-साजवाबधदयाऔरएकक्षण
रुक कर धफर बोला, “पि्ा नहीं ह।ै ” “वाह,पि्ाकयोंनहींह,ै”पतनीनेअपनेकंिेझटका्ेहुएधवरोिप्रकटधकयाथिा,
“अभीसबतुहसेदोपहर्कपिही्ोरहाथिा।” रसोईघरकेसामनेवालेचब्ूरेपरबैठा11वषषीयलड़काहड़बड़ाकरसभंलगया।
घटतुनोंपरलैधटनवयाकरणकीबंदधक्ाबरखीथिी।लड़काइकहरेबदनकाथिाऔरउसके बाल छोटे-छोटे थिे।
वह सपोट््तस की लाल कमीज़ और एक ढीली-ढाली स्ू ी पैंट पहने हुए थिा। पैरों में मामलूीचपपलथिी।वहआशापणू्तधनगाहोंसेअपनीमाँऔरधप्ाकीओरदखे रहाथिा। ्भीधप्ानेकठोर्ासेरूखेसवरमेंलड़केसेपछूा,“अचछाब्ाइसेलैधटनमेंकैसे कहगेंे,कयामझतुेप्रशसंाधमलेगी?”लड़केकाधसरसख़्ीसेधहला्ेहुएपछूाथिाशहतुयदाने।
“लाउदरै ें्रतु ,” लड़के ने धबना सोच-े समझे धझझक्े हुए उत्र धदया थिा और आगे की ओर झकतु ्ेहुएऐसेखड़ाहोगयाथिाजैसेअकसरसकूलमेंजवाबद्े ेसमयखड़ेहोजानाचाधहए। “लाउदरैें्रतु...लाउदरैें्रतु...”शहतुयदालगा्ाधवषलैीमसतुकतुराहटकेसाथिउसकाग़ल्
जवाब दोहराये जा रहा थिा।
“्ोकंपाट्तमटें परीक्षामेंभीफेलहोनेकाधवचारह।ै” “सबजान्ाह,ैमगरडर्ाहै्मतुहारेस,े”माँबीचमेंस़िाईद्ेेहुएबोलीथिी,“्मतु
उसे बीच में ही टोक द्े े हो।” “मैंइसेसकूलसेधनकाललँगूा,”शहतुयदाउत्धेज्सवरमेंबोला,“ईश्वरकीसौगिं मैं
अबइसेसकूलसेउठाकर्ालेऔरघोड़ेकीनालबनानेकेििंेमेंडालदगँूा।”आरंभ मेंशहतुयदाकोभीइसबा्कीजानकारीनहींथिीधकयँूक्ोिमेंउसनेलड़केकेधलएयही ििंाकयोंचनतुा।इसििंेकेबारेमेंउसनेपहलेसेकतुछभी्यनहींधकयाथिा।
“इिर आ मरे े याँधच।” माँ बेटे को पचतु कार्ी हुई बोली, “इिर आ मरे े पास, अब बाद में पिना।”
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विशिवा / Áजनिरी 2022










































































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