Page 50 - Vishwa January 2024
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“अनवुाजदनी”MT(तकनीकी्बदावलीकेसाथइिंीजनयररंग पा‍ठ्यपस्ुतकोंकेतवररतअनवुादकेजलए),“भाजषणी”िैसेजनतानत उपयोगीसॉफटवेयरकेबारेमेंभीबताया।माइकोसॉफट,गगूल, जस्वफटकीअमिेनएआई,सैमसगं,एिोबी,उद्योगोंकेजिजिटल कांजत को जनरंतर लोकोपयोगी बनाने में उनके सहयोग और समथशिन पर हषशि प्रकट जकया।
श्ी अवतंस कु मार, इजं िक अकै िमी की अमरे रकी ्ाखा के ट्रस्टी, ने रािभाषा को लोक भाषा बनाने में टेकनोलॉिी का योगदान पर अपने वकतवय के कम में सवशिप्रथम ‘जनि भाषा’ के महत्व को जवद्यापजतके‘दजेसलबयनासभिनजमट्ठा’औरभारतेनदुहररश्चद्रं के ‘जनिभाषाउननजतअहैसबउननजतकोमलू’एकबौजद्धकम‍तंके रूप में स्मरण करने की सलाह दी। उनहोंने बताया जक कै से रािभाषा जहनदीकोटेकनोलॉिीकेमाधयमसेसावभशिौजमकलोकभाषाबनाया िासकताहैऔरकैसेइससावभशिौजमकलोकभाषाकीसमरूपता का सामिं स्य और तालमले इसके मानकीकृ त रूपों से भी जब‍ठाया िा सकता ह।ै
िॉ. पललब जमद्या, अधयक्ष, एिीएकस ररसच,शि ने ‘परंपरा और टेकनोलॉिीकासगंमःजिजिटलपेन’केबारेमेंअजतसरलताऔर स्पष्टता से समधाया। िॉ. पललब जमद्या अपने इस जिजिटल पेन को जनमाशिणकेजलएअथकपररश्मकररहेहैंऔरइसेपरूाकरनेकेजलए अनदुानप्रापतकरनेकेजलएभीसततप्रयतन्ीलभीह।ैंउनहोंनेइस जिजिटलपेनकीसकंलपनाहीभारतीयसदंभमोंकेजलएकीह।ैइस बातकीपजुष्टकेजलएउनहोंनेयहज़ोरदकेरबतायाजकइसपेनका जनमाशिणआसानीसेमहिएकहिाररुपयोंमेंहोसकताह।ै यहपेन एक आम पेन की तरह काम करेगा लेजकन इससे िो भी जहनदी में जलखा िाएगा उसका भिं ारण पेन में िाले गए एक जचप में आसानी से हो सकेगा। कोई वयजकत अपनी परू े िीवन में िो भी इस पेन से जहनदीमेंजलखगेा,वहइसपेनकेजचपमेंलजसफशिसरुजक्षतरहगेा, बजलकउसेजकसीअनयकमपयटूरयाफोनयाआईपैििैसेउपकरणों में िाउनलोि भी जकया िा सके गा। िॉ. जमद्या 50 से अजधक अमरे रकी पेटेंटों के स्वामी ह,ैं अदभ् तु मौजलक सोच के जलए कई सगं ‍ठनों में अपने सहकजमयशि ों और सहयोजगयों द्ारा सराहे िाते रहे ह,ैं इसजलए हम सभीकोपरूाजवश्वासहैजकउनकायहजिजिटलपेनजनकटभजवष्य मेंहमसबकेहाथोंम,ेंखासकरअथाशिभावसेिझूतेभारतहीनहीं, परू े जवश्व के हर छा‍त-छा‍ताएँ के हाथ में होगा।
अपनेसयंोिकीयवकतवयमेंिॉ.जमजथले्जमश्नेरेखांजकत जदलाया–एक,जिजिटलकांजतकेयगु मेंजहनदीएकवजैश्वकभाषा बनने के सोपानों को एक-एक कर पार कर रही ह,ै अमरे रका के 22 से अजधकप्रजतजष्‍ठतजवश्वजवद्यालयोंमेंहीनहीं,बजलकइगंलैंि,िमनशिी, िापान, ऑस्ट्रेजलया, िैसे आजथशिक रूप से अजत उननत द्े ों में भी जहनदी का अधययन-अधयापन चल रहा ह।ै उनहोंने उस बात पर भी बल जदया जक अगर जहनदी भाजषयों के मन में भाषा के प्रजत ममतव भी िगेगा तो बहुत ्ीघ्र ही जहनदी एक वैजश्वक भाषा के रूप में जवश्व केहरकोनेमेंप्रयकुतहोनेलगेगी।जिजिटलकाजतकीऊिाशिसेएक भावनातमक कांजत के भी उदय होने का यगु आ गया ह,ै सभी का साथऔरसहयोगकीआ्ाबनीरहगेी।
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विशिवा / जनिरी 2024
 जवश्वपा के रचनपाकपार सममपाजनत-्ुरसककृत
1. िेदवय्स – अपने प्रजतबद्ध लेखन और मानवीय सरोकारों के समथशिन के जलए आिीवन जकये गए लेखन के जलए ‘साजहतय-मनीषी’ परु स्कार ।
2.डॉररजरीत–छहसेभीअजधकद्कोंसे अपनीकजवताओंके जलएचजचतशि मानवतावादी रचनाकारिनादनशि रॉयपरुस्कारसेअलंकृत
3. शय्ि ििहषरा – अपनी जक्ोरावस्था में ही रािस्थान के एक छोटे से कस्बे श्ी िूंगरगढ़ से जहनदी ज्क्षण और तदनंतर पज‍तका प्रका्न तथा एक जव्ाल पस्ु तकालय सजहत ‘राष्ट्रभाषा जहनदी प्रचार सजमजत’ िैसी सस्ं था की स्थापना कास्वपनसाकारकरनेवालेिझुारू,कजव वयजकततव को रािस्थानी भाषा अकादमी का प्रजतजष्‍ठत‘पनूमचदं जबश्नोईपरुस्कार’।
4. कु लिनत हसिं नदरीि परि्र – पिं ाबी में लेखन के जलए कनािा, अमरीका, भारत और पाजकस्तान के लेखकों को जदया िाने वाला ‘राइटर ऑफ द ईयर’ का परु स्कार जवश्वा के लेखक और वेंकू वर जनवासी नदीम साहब को प्रदान जकया गया, बधाई ।
एजशयपाि 2023 : अब तक कपा सवशिश्ेष्‍ठ प्रदशनशि
एवश्यन गेमस में भार्त ने 107 पदक जरी्ते हैं
चीनकेहाँगझूमें19वेंएज्याईखले ोंमेंभारतने107पदकोंकेसाथ अपनाअजभयानसमापतजकयाह।ै भारतनेकुल28गोलिमिेल के साथ 107 पदक अपने नाम जकए। एज्यन गेमस के इजतहास में यहभारतकाअबतककासवशिश्ष्े‍ठप्रद्नशि ह।ै वहींभारतने38 जसलवर और 41 ब्रॉनि मिे ल भी िीते। इस बार भारत की ओर से 655 एथलीटों ने भाग जलया।
19वेंएज्याईखलेोंकाउदघ्ाटन23जसतंबरकोजकयागया था,जिसमेंपरुुषहॉकीटीमकेकपतानहरमनप्रीतजसहं औरमकुकेबाि लवलीना बोरगोहने भारत के धविवाहक थे।
     



















































































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